हमारी भावनाएँ शब्दों में ढल कविता का रूप ले लेती हैं।अपनी कविताओं के माध्यम से मैंने अपनी भावनाओं, अपने अहसासों और अपनी विचार-धारा को अभिव्यक्ति दी है| वीथी में आपका स्वागत है |
ज़िंदगी की बही में क्या करें दर्ज़ खुशियाँ या दर्द चुनिए सोच कर क्योंकि जब पलटेंगे पन्ने जीएँगे हम बार-बार हज़ार बार उन्हीं पलों को दे जाएँगे जो मुस्कान अधरों को या फिर आँसू नयनों को
-शील